गांवों में स्वास्थ्य सेवाओं का सुदृढ़ीकरण सरकार की प्राथमिकता: कौल सिंह, तेगूबेहड़ पंचायत में नागरिक अस्पताल का किया लोकार्पण, क्षेत्रीय अस्पताल कुल्लू शीघ्र जुड़ेगा डाइलिसिस सुविधा 

कुल्लू। स्वास्थ्य एवं राजस्व मंत्री कौल सिंह ठाकुर ने कहा है कि प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का ग्रामीणीकरण करना राज्य सरकार की प्राथमिकताओं में से एक है। कुल्लू विधानसभा क्षेत्र की तेगूबेहड़ पंचायत में नागरिक अस्पताल का विधिवत उद्घाटन करने के उपरांत रविवार को तेगूबेहड़ में एक जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने ये बात कही। उन्होंने कहा कि इस अस्पताल के खुलने से साथ लगती क्षेत्रों खोखन, शमशी, तेगूबेहड़, शुरढ के आलवा मंडी क्षेत्र के लोगों को भी स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया होगी। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि क्षेत्रीय अस्पताल कुल्लू में एक माह के भीतर गुर्दे के रोगियों को डाइलिसिस की सुविधा मुहैया करवा दी जाएगी ताकि उन्हें इसके लिए मंडी व शिमला न जाना पड़े। मंत्री ने बताया कि तेगूबेहड़ में नागरिक अस्पताल के भवन के निर्माण के लिए चार करोड़ 75 लाख रूपये के बजट का प्रावधान किया गया जिसमें से दो करोड़ 71 लाख रूपये की पहली किश्त लोक निर्माण विभाग को दे दी गई है। उन्होंने कहा कि 

तेगूहेबहड़ नागरिक अस्पताल को सभी आधुनिक मशीनों से लैस किया जाएगा ताकि ग्रामीणों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उनके घरद्वार पर मिल सके।मंत्री ने बताया कि इस भवन का निर्माण आगामी वर्ष जून तक पूरा कर लिया जाएगा और इसका विस्तारीकरण कर इसे 25 से बढ़ाकर 50 बिस्तरों वाले अस्पताल का दर्जा दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय अस्पताल कुल्लू में विभिन्न विशेषज्ञों डाॅक्टरों को नियुक्त किया गया है और एक अतिरिक्त स्त्री रोग विशेषज्ञ की नियुक्ति भी हाल ही में की गई है। मंत्री ने बताया कि हिमाचल प्रदेश में ग्रामीण क्षेत्रों के स्वास्थ्य सुविधाओं को सुदृढ़ करने के उद्देश्य से अभी तक 7 लाख 6 सौ 55 आशा वर्करों की नियुक्ति की गई है। इसी प्रकर शहरी क्षेत्रों में भी आशा वर्करों की भर्ती प्रक्रिया को शीघ्र आरंभ किया जाएगा। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि लोगों की राजस्व संबंधी सुविधाओं को और अधिक बेहतर बनाने की दृष्टि से प्रदेश में 1120 नए पटवारियों के पद भरे जाएंगे। उन्होंने कहा कि राज्य के लोगों को घर द्वार पर प्रशासनिक एवं राजस्व संबंधी सेवाएं प्रदान करने के उद्देश्य से वर्तमान सरकार द्वारा गत साढ़े तीन वर्षो में 31  नई उप तहसीलें, 11 तहसीलें का दर्जा बढ़ाया गया और 10 एस.डी.एम. कार्यालय खोले गए हंै। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्य में 80 प्रतिशत से अधिक विकास कार्य 

कांग्रेस सरकार के शासनकाल के दौरान हुए है। हुए है।इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महासचिव सुंदर सिंह ठाकुर ने कुल्लू विधानसभा क्षेत्र में प्रदेश सरकार किए जा रहे विकास कार्यों पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर बीडीसी सदस्य कर्मचंद ने मुख्यातिथि का स्वागत किया। इस अवसर पर जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष बुद्धि सिंह ठाकुर, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा0 वाईडी शर्मा, जिला स्वास्थ्य अधिकारी डा. सुशील चंद्र कुमार शर्मा, नगर पंचायत भंुतर के अध्यक्ष कर्ण सिंह, पंचायत प्रधान तेगूबेहड़ धनवीर सिंह, पंचायत प्रधान शमशी राकेश कुमार, पंचायत प्रधान खोखन, पीतांबरा देवी, शुरढ पंचायत प्रधान हुकम राम, पूर्व प्रधान जोगू राम ठाकुर, पूर्व बीडीसी अध्यक्ष मेघ सिंह ठाकुर, पूर्व जिला परिषद सदस्य ओम प्रकाश शर्मा सहित काफी संख्या में ग्रामीण मौजूद

ग्रामीण विकास से जुड़ी योजनाओं को समयबद्ध पूरा करें अधिकारी: अनिल शर्मा 

धर्मशाला। – ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिल शर्मा ने अधिकारियों को ग्रामीण क्षेत्रों में चल रही विभिन्न विकास योजनाओं को समयबद्ध पूरा करने के निर्देश दिए हैं, ताकि इनका लाभ लोगों को पहुंचना सुनिश्चित हो सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेशवासियों के जीवनस्तर में सुधार लाने के लिए प्रतिबद्ध है और ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज व्यवस्था के सुदृढ़ीकरण के लिए पर्याप्त धनराशि का प्रावधान किया गया है।            

       शर्मा आज यहां कांगड़ा, चंबा और ऊना जिलों में ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग से जुड़ी विभिन्न विकास योजनाओं की प्रगति की समीक्षा को लेकर आयोजित मंडल स्तरीय बैठक की अध्यक्षता करते हुए बोल रहे थे। बैठक में ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग के निदेशक आर सेल्वम, मंडलायुक्त नंदिता गुप्ता, जिलाधीश कांगड़ा रितेश चौहान, जिलाधीश चम्बा सुदेश मोख्टा, संयुक्त सचिव भूपेन्द्र अत्री एवं सचिन कंवल, एडीसी कांगड़ा राकेश शर्मा, एडीएम ऊना राजेश मारीया सहित तीनों जिलों के संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।  
     बैठक में तीनों जिलों में मनरेगा, जलागम विकास 

परियोजना, स्वच्छ भारत मिशन, आजीविका मिशन, दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना एवं पंचायती राज से संबंधित विभिन्न योजनाओं के कार्यान्वयन की प्रगति का जायजा लिया गया। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को उक्त योजनाओं के तहत लंबित सभी कार्यों को समयबद्ध पूर्ण करने के साथ ही इस तिमाही के लिए निर्धारित लक्ष्यों को समय रहते पूरा करने के निर्देश दिए। 
     अनिल शर्मा ने कहा कि विकास कार्यों के लिए धन की कोई कमी नहीं है। उन्होंने कहा कि मनरेगा के तहत 100 करोड़ रूपए की धनराशि का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि मनरेगा का उद्देश्य न केवल मजदूरी रोजगार प्रदान करना है, बल्कि प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में टिकाऊ परिसम्पत्तियों का निर्माण करना भी है, ताकि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में मनरेगा के कार्यान्वयन से होने वाले लाभ परिलक्षित हों। इसके अतिरिक्त, जलागम विकास की विभिन्न योजनाओं के लिए 40 करोड़ रूपए का प्रावधान किया गया है। 
     उन्होंने कहा कि 14वें वितायोग के तहत प्रदेश को 330 करोड़ रूपए प्राप्त हुए हैं। इसमें से कांगड़ा मंडल के लिए 122 करोड़ रूपए का प्रावधान किया गया है।
     उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार पंचायतों को पूर्ण रूप से पेपरलेस बनाने के लिए कार्य कर रही है। इसके साथ ही परिवार रजिस्टर को ऑनलाईन करने के लक्ष्य को प्राप्त करने का कार्य भी तेज गति से चल रहा है। पंचातयों के भवन निर्माण एवं जीर्णोद्धार के लिए पर्याप्त धनराशि उपलब्ध करवाई गई है। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को इस धनराशि की व्यय संबंधी रिपोर्ट एक हफ्ते के भीतर सौंपने के निर्देश दिए। 
     उन्होंने संबंधित अधिकारियों को उक्त सभी योजनाओं के तहत किए गए कार्यों के संबंध में व्यय धनराशि का पूरा ब्यौरा पब्लिक फंड प्रबंधन प्रणाली में नियमित रूप से दर्ज करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार से किसी भी योजना के तहत दूसरी किस्त तभी उपलब्ध हो सकेगी, यदि पहली किस्त की पूर्ण उपयोगिता का ब्यौरा समय पर उपलब्ध करवाया जाएगा।  
     शर्मा ने कहा कि दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना के तहत प्रदेश को 135 करोड़ रूपए प्राप्त हुए हैं। इस योजना के तहत आगामी तीन वर्षों में 15 हजार युवाओं को रोजगार के लिए निःशुल्क प्रशिक्षण प्रदान कर अपेक्षित कौशल में निपुण बनाने के साथ साथ रोजगार मिलना भी सुनिश्चित बनाया जाएगा। विभाग हिमाचल कौशल विकास निगम के सहयोग से इस कार्यक्रम को कार्यान्वित करेगा तथा प्रथम वर्ष में 5 हजार युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। 
     शर्मा ने स्वच्छ भारत मिशन के तहत निर्धारित लक्ष्यों को हासिल करने के लिए मिशन मोड पर कार्य करने के लिए कहा। उन्होंने आगामी 2 अक्तूबर तक सम्पूर्ण कांगड़ा मंडल को पूरी तरह से खुले में शौच से मुक्त बनाने के लक्ष्य के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि स्वच्छ भारत मिशन के तहत 50 करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है। 
     इससे पूर्व, ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग के निदेशक आर सेल्वम ने अनिल शर्मा का स्वागत किया। 
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